उत्तराखंड के गांव में बादल फटने से 4 लोगों की मौत, कई लोग मलबे में फंसे

उत्तराखंड के उत्तरकाशी जिले के धराली गांव में मंगलवार दोपहर बादल फटने से अचानक बाढ़ और भूस्खलन हुआ, जिसमें 4 लोगों की मौत हो गई और कई लोग मलबे में फंसे हुए हैं।

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उत्तराखंड के उत्तरकाशी ज़िले के धराली गांव में मंगलवार दोपहर भारी तबाही मच गई। खीरगंगा नदी के पास बादल फटने से गांव में अचानक बाढ़ और भूस्खलन आ गया। इस हादसे में चार लोगों की मौत हो गई, जबकि कई अन्य लोगों के कीचड़ और मलबे में दबे होने की आशंका है।

धराली गाँव से जो वीडियो और तस्वीरें सामने आई हैं, उनमें देखा जा सकता है कि कैसे बाढ़ का पानी और कीचड़ बहुत तेज़ी से घरों की तरफ बढ़ रहा है। लोग डर के मारे चिल्ला रहे हैं और एक व्यक्ति कीचड़ में फंसा हुआ लड़खड़ाता दिखाई दे रहा है।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस हादसे पर दुख जताया है और मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी से बात करके राहत और बचाव कार्यों की जानकारी ली है। प्रधानमंत्री ने कहा कि लोगों की मदद के लिए हर जरूरी कदम उठाए जा रहे हैं। गृह मंत्री अमित शाह ने भी मुख्यमंत्री से बातचीत की है और हरसंभव मदद का भरोसा दिया है।

सेना, एनडीआरएफ, राज्य आपदा मोचन बल (SDRF) और जिला प्रशासन की टीमें मौके पर पहुंचकर बचाव कार्य में जुट गई हैं। सेना ने बताया कि हादसा दोपहर करीब 1:45 बजे हुआ और जवान तुरंत घटनास्थल पर पहुँच गए।

सेना ने अपने सोशल मीडिया पोस्ट में कहा कि हम अपने नागरिकों की मदद के लिए पूरी तरह तैयार हैं और राहत कार्य तेजी से चल रहे हैं।

उत्तरकाशी पुलिस ने लोगों से अपील की है कि वे नदियों से दूर रहें और अपने बच्चों और पशुओं को भी सुरक्षित दूरी पर रखें।

इस मानसून सीजन में उत्तराखंड में लगातार भारी बारिश हो रही है। कई नदियाँ, जैसे हरिद्वार में गंगा, उफान पर हैं।

सोमवार को भी बारिश से जुड़ी घटनाओं में दो लोगों की जान गई थी, और रुद्रप्रयाग में पहाड़ से गिरे पत्थरों की चपेट में आकर दो दुकानें दब गई थीं।

मौसम विभाग (IMD) ने उत्तराखंड के लिए रेड अलर्ट जारी किया है, यानी आज बहुत भारी बारिश हो सकती है। आने वाले दिनों के लिए येलो अलर्ट भी जारी है, जो भारी बारिश की चेतावनी देता है।

हेल्पलाइन नंबर जारी:

प्रशासन ने इस आपदा को देखते हुए मदद के लिए हेल्पलाइन नंबर जारी किया है – 01374-222126, 01374-222722. उत्तरकाशी के लोगों से अपील है कि वे सतर्क रहें, प्रशासन के संपर्क में रहें और सुरक्षित स्थानों पर रहें।