प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने देशभर के श्रद्धालुओं को चार दिवसीय महापर्व छठ पूजा की शुभकामनाएं दी हैं. उन्होंने ट्वीट के माध्यम से कहा कि नहाय-खाय के पावन अनुष्ठान के साथ यह महापर्व शुरू हो रहा है और सभी व्रतियों को उनका नमन और वंदन.
पीएम मोदी ने छठ महापर्व की महत्ता पर प्रकाश डालते हुए बताया कि यह पर्व सादगी, संयम और आस्था का प्रतीक है. छठ के घाटों पर श्रद्धालुओं का संगम, परिवार और समाज में सद्भाव और भाईचारे की प्रेरणा देता है. उन्होंने कहा कि छठ पूजा की प्राचीन परंपरा हमारे समाज पर गहरा प्रभाव डालती रही है. आज यह पर्व न केवल बिहार और उत्तर प्रदेश में, बल्कि दुनिया के कोने-कोने में संस्कृति और आस्था के महाउत्सव के रूप में मनाया जाता है.
प्रधानमंत्री मोदी ने अपने संदेश में आशा व्यक्त की कि छठी मइया सभी को अपना आशीर्वाद दें. उन्होंने कहा कि छठ महापर्व आस्था, भक्ति और प्रकृति प्रेम का अनोखा संगम है. इसमें अस्ताचलगामी और उदीयमान सूर्यदेव को अर्घ्य दिया जाता है. प्रसाद में प्रकृति के विविध रंगों का समावेश होता है और छठ पूजा के गीत व धुनें भक्ति और प्रकृति की सुंदर छवि प्रस्तुत करती हैं.
पीएम मोदी ने कहा, "छठ पूजा का पर्व हमें संयम, श्रद्धा और परिश्रम की सीख देता है. यह केवल धार्मिक उत्सव नहीं, बल्कि सामाजिक और पारिवारिक मेलजोल का भी प्रतीक है."
प्रधानमंत्री ने लोक गायिका शारदा सिन्हा का भी स्मरण किया. उन्होंने बताया कि कल ही उन्हें बेगूसराय जाने का अवसर मिला था, जो शारदा सिन्हा जी का जन्मस्थल भी है. शारदा सिन्हा जी और बिहार के अन्य लोक कलाकारों ने अपने गीतों के माध्यम से छठ के उत्सव को विशेष भाव और रंग दिया है. उनके गीतों ने छठ महापर्व को न केवल लोक संस्कृति में बल्कि राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी अलग पहचान दिलाई है.
मेरा सौभाग्य है कि कल ही, मुझे बेगूसराय जाने का अवसर मिला था। बिहार कोकिला शारदा सिन्हा जी का बेगूसराय से आत्मीय रिश्ता रहा है। शारदा सिन्हा जी और बिहार के कई लोक कलाकारों ने अपने गीतों से, छठ के उत्सव को एक अलग भाव से जोड़ा है। pic.twitter.com/6P4iQnRL5X
— Narendra Modi (@narendramodi) October 25, 2025
पीएम मोदी के संदेश से यह स्पष्ट होता है कि छठ महापर्व सिर्फ एक धार्मिक उत्सव नहीं, बल्कि सांस्कृतिक, सामाजिक और पारिवारिक मूल्यों का अद्भुत संगम है. यह पर्व हमें आस्था, संयम, प्रकृति प्रेम और सामाजिक सद्भाव की प्रेरणा देता है. देशभर में छठ व्रती सूर्यदेव और छठी मइया की भक्ति में लीन होकर अपने परिवार और समाज के लिए सुख-समृद्धि की कामना करते हैं.
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