SIR Form: उत्तर प्रदेश में मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (SIR) की लास्ट डेट 11 दिसंबर तय है. इस बीच कई लोग चिंतित हैं कि अगर वे समय पर SIR फॉर्म जमा नहीं कर पाए, तो क्या उनका नाम वोटर लिस्ट से हट सकता है? सोशल मीडिया पर ये सवाल सबसे ज्यादा पूछा जा रहा है.
चुनाव आयोग ने इन सभी आशंकाओं को साफ करते हुए कहा है कि SIR फॉर्म न भरने पर न तो जुर्माना लगेगा, न ही किसी तरह की कानूनी कार्रवाई होगी. यह प्रक्रिया केवल मतदाता सूची को अपडेट करने के लिए होती है, न कि लोगों पर दंड लगाने के लिए.
SIR का मकसद है- पुरानी जानकारी में सुधार करना, नए मतदाताओं को शामिल करना और जो लोग स्थान बदल चुके हैं, उनका रिकॉर्ड अपडेट करना. यदि कोई व्यक्ति किसी वजह से इस प्रक्रिया में हिस्सा नहीं ले पाता, तो उसके मतदान अधिकार प्रभावित नहीं होते. आयोग का लक्ष्य है कि हर योग्य नागरिक को अपना नाम जुड़वाने का पूरा अवसर मिले.
ड्राफ्ट मतदाता सूची 16 दिसंबर को जारी होगी. यह एक अस्थायी सूची होती है, जिसमें कई बार तकनीकी कारणों से कुछ लोगों के नाम शामिल नहीं हो पाते. अगर आपको इस ड्राफ्ट सूची में अपना नाम नहीं मिलता, तो चिंता न करें. आयोग जनवरी 2026 तक क्लेम-ऑब्जेक्शन की अवधि दे रहा है. इस दौरान आप अपना नाम जोड़ सकते हैं, हटाए जाने पर आपत्ति दर्ज करा सकते हैं, या गलत जानकारी को सुधरवा सकते हैं. यदि आप पहले से पंजीकृत मतदाता हैं, तो प्रक्रिया और आसान हो जाती है. SIR समय पर न भरने से आपका नाम अपने आप नहीं हटेगा. हटाने से पहले पूरी जांच की जाएगी.
अगर ड्राफ्ट सूची में आपका नाम छूट जाए या पता जैसी जानकारी गलत हो, तो अधिकारी मामले की जांच करते हैं. कई बार मतदाता को नोटिस भी भेजा जाता है, जिसमें आवश्यक दस्तावेज जमा करने होते हैं.
आमतौर पर जानकारी सुधारने या नाम जोड़ने के लिए फॉर्म 6 भरना होता है, जिसे चुनाव आयोग की वेबसाइट से डाउनलोड किया जा सकता है. जनवरी 2026 तक सभी योग्य मतदाताओं को यह अवसर उपलब्ध रहेगा.
अगर ड्राफ्ट सूची जारी होने के बाद आप SIR से जुड़ा आवेदन देते हैं, तो आपको यह साबित करना होगा कि आप उसी क्षेत्र के मतदाता हैं. इसके लिए-
आधार कार्ड, बिजली बिल, राशन कार्ड, किराए का अनुबंध जैसे दस्तावेज मांगे जाते हैं.
यदि दस्तावेज नहीं दिए जाते या सुनवाई में गैरहाज़िर रहते हैं, तो नाम हटाया जा सकता है. यह केवल उन्हीं मामलों में होता है जहां जानकारी स्पष्ट न हो.
इस साल BLO पर काम का दबाव अधिक रहा, इसलिए आयोग ने SIR की अंतिम तिथि बढ़ाकर 11 दिसंबर कर दी. इससे आगे की समय-सारणी भी बदली- ड्राफ्ट लिस्ट: अब 16 दिसंबर, अंतिम मतदाता सूची: अब 14 फरवरी. इन बदलावों का मकसद यह सुनिश्चित करना है कि किसी भी योग्य मतदाता का नाम सूची से न छूटे और सभी को पर्याप्त समय मिल सके.
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