पंजाब नेशनल बैंक (PNB) में 13,000 करोड़ रुपये की धोखाधड़ी के मुख्य आरोपी मेहुल चौकसी को बेल्जियम में गिरफ्तार किया गया था. अब भारत की एजेंसियां उनका प्रत्यर्पण कराने में जुटी हैं. हालांकि, चौकसी की स्वास्थ्य स्थिति गंभीर बताई जा रही है. उनके वकील का कहना है कि कैंसर जैसी बीमारी के चलते उन्हें आम कैदियों की तरह हिरासत में नहीं रखा जा सकता.
भारत ने बेल्जियम को आश्वासन दिया है कि मेहुल चौकसी को मुंबई की आर्थर रोड जेल में रखा जाएगा. वहां उन्हें बेहतर चिकित्सा सुविधाओं के साथ ही आवश्यक भोजन और सुरक्षा दी जाएगी.
भारत ने बेल्जियम प्रशासन को बताया कि चौकसी को जेल की बैरक नंबर 12 में रखा जाएगा. वहां उन्हें मोटा रुई का गद्दा, तकिया, बेडशीट और कंबल मिलेगा. साथ ही धातु के फ्रेम वाला लकड़ी का बेड, पर्याप्त लाइट, वेंटिलेशन और स्टोरेज की सुविधा भी होगी.
साफ पानी और चौबीस घंटे मेडिकल सुविधा उपलब्ध रहेगी. स्वास्थ्य और व्यायाम के लिए उन्हें रोज एक घंटे के लिए सेल से बाहर जाने की इजाजत भी दी जाएगी.
अगस्त में बेल्जियम की अपील अदालत ने चौकसी की जमानत याचिका को खारिज कर दिया था. अदालत ने सीबीआई के ठोस तर्कों के आधार पर फैसला सुनाया. सीबीआई ने बताया कि चौकसी पहले भी कई बार न्यायालयों के दायरे से भाग चुका है और जमानत मिलने पर वह किसी अन्य देश में भाग सकता है. चौकसी की अग्रिम जमानत याचिका और घर पर नजरबंदी की पेशकश भी अदालत ने खारिज कर दी.
66 वर्षीय मेहुल चौकसी का प्रत्यर्पण मामला सितंबर के मध्य में बेल्जियम की एक अदालत में सुना जाएगा. गीतांजलि समूह के मालिक चौकसी के खिलाफ भारत में लंबी कानूनी कार्यवाही चल रही है. भारत ने बेल्जियम को स्पष्ट आश्वासन दिया है कि उनके प्रत्यर्पण के बाद सभी सुरक्षा और स्वास्थ्य सुविधाएं सुनिश्चित की जाएंगी.
इस पूरी प्रक्रिया में सीबीआई और अन्य एजेंसियां सतर्क हैं, ताकि मेहुल चौकसी को सुरक्षित तरीके से भारत लाया जा सके और न्याय प्रक्रिया में पेश किया जा सके.
इस तरह भारत ने चौकसी के प्रत्यर्पण को लेकर बेल्जियम को विश्वास दिलाया है कि उनकी हिरासत में स्वास्थ्य और सुरक्षा दोनों का पूरा ध्यान रखा जाएगा.