भारत के विमानन इतिहास की सबसे भयावह घटनाओं में शुमार एयर इंडिया की फ्लाइट AI171 की दुर्घटना को लेकर विमान दुर्घटना जांच ब्यूरो (AAIB) ने अपनी प्रारंभिक रिपोर्ट जारी कर दी है. 12 जून को अहमदाबाद से लंदन के गैटविक एयरपोर्ट के लिए रवाना हुई इस फ्लाइट ने उड़ान भरते ही कुछ ही सेकंड में नियंत्रण खो दिया और पास के एक मेडिकल हॉस्टल पर जा गिरी. इस दर्दनाक हादसे में 260 लोगों की जान चली गई, जबकि केवल एक यात्री ही जीवित बचा.
AAIB की इस रिपोर्ट में कई तकनीकी खामियों और असामान्य घटनाओं का उल्लेख किया गया है, जिससे हादसे की असल वजहों की ओर इशारा मिलता है. रिपोर्ट के मुताबिक, टेकऑफ के कुछ ही सेकंड बाद विमान के दोनों इंजन बंद हो गए थे और पायलटों के बीच कॉकपिट में भ्रम की स्थिति पैदा हो गई थी.
रिपोर्ट के अनुसार, विमान के दोनों इंजन टेकऑफ के तुरंत बाद बंद हो गए थे। इंजन फ्यूल कटऑफ स्विच 'RUN' से 'CUTOFF' स्थिति में एक सेकंड के भीतर लाए गए, जिससे ईंधन की आपूर्ति पूरी तरह बाधित हो गई और थ्रस्ट खत्म हो गया. ब्लैक बॉक्स से मिले ऑडियो में एक पायलट पूछते हैं, 'Why did you cut off?' (तुमने बंद क्यों किया?) जबकि दूसरा जवाब देता है, 'I didn’t.' (मैंने नहीं किया)। यह संवाद दर्शाता है कि दोनों पायलटों के बीच इंजन बंद होने को लेकर स्पष्टता नहीं थी.
इंजन फेल होने के बाद विमान की आपातकालीन हाइड्रोलिक पावर के लिए Ram Air Turbine (RAT) अपने आप सक्रिय हो गई. AAIB ने CCTV फुटेज के आधार पर RAT के एक्टिवेशन की पुष्टि की है.
पायलटों ने इंजन को फिर से स्टार्ट करने की कोशिश की. पहला इंजन (N1) आंशिक रूप से रिस्पॉन्ड कर गया, लेकिन दूसरा इंजन पूरी तरह फेल हो गया और विमान 0.9 नॉटिकल मील दूर जाकर हॉस्टल से टकरा गया. थ्रस्ट लीवर आइडल मोड में पाए गए, लेकिन ब्लैक बॉक्स के डेटा के अनुसार टेकऑफ थ्रस्ट सक्रिय था. यह किसी संभावित तकनीकी गड़बड़ी या डिस्कनेक्ट को दर्शाता है.
जांच में पाया गया कि ईंधन पूरी तरह साफ और मानकों पर खरा था. विमान का टेकऑफ वजन भी अनुमत सीमा के भीतर था (213,401 किलोग्राम बनाम अधिकतम 218,183 किलोग्राम). पायलट अनुभवी, फिट और प्रमाणित थे। विमान में कोई विस्फोटक या खतरनाक सामान नहीं था. रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि वर्तमान में B787-8 विमान या GE GEnx-1B इंजन को लेकर कोई सुरक्षा सिफारिश जारी नहीं की गई है क्योंकि जांच प्रक्रिया अभी जारी है.