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गाजियाबाद में श्रावण माह में नॉनवेज बेचने पर बवाल. इंदिरापुरम के KFC में घुसे हिंदू रक्षा दल के कार्यकर्ता

गाज़ियाबाद के इंदिरापुरम इलाके में गुरुवार को उस समय हड़कंप मच गया, जब हिंदू रक्षा दल के कार्यकर्ता अचानक एक KFC आउटलेट में घुस गए। इन कार्यकर्ताओं ने श्रावण मास के दौरान मांसाहारी भोजन पर रोक लगाने की मांग करते हुए हंगामा किया और स्टाफ को दुकान बंद करने के लिए मजबूर किया.

👤 Golu Dwivedi 18 Jul 2025 05:44 PM

गाज़ियाबाद के इंदिरापुरम इलाके में गुरुवार को उस समय हड़कंप मच गया, जब हिंदू रक्षा दल के कार्यकर्ता अचानक एक KFC आउटलेट में घुस गए। इन कार्यकर्ताओं ने श्रावण मास के दौरान मांसाहारी भोजन पर रोक लगाने की मांग करते हुए हंगामा किया और स्टाफ को दुकान बंद करने के लिए मजबूर किया. इस पूरी घटना का वीडियो भी सामने आया है, जिसमें देखा जा सकता है कि कार्यकर्ता किस तरह से आउटलेट में घुसते हैं और कर्मचारियों से तीखी बहस करते हैं.

यह पूरा विवाद श्रावण माह के धार्मिक महत्व से जुड़ा है. हिंदू धर्म में श्रावण मास को अत्यंत पवित्र माना जाता है और इस दौरान अधिकांश श्रद्धालु शाकाहार का पालन करते हैं. कार्यकर्ताओं का कहना है कि इस पवित्र महीने में मांसाहारी भोजन परोसना 'सनातनी मूल्यों का अपमान' है.

वीडियो में दिखा पूरा घटनाक्रम

Times Now के अनुसार, सामने आए विजुअल्स में यह स्पष्ट देखा जा सकता है कि कार्यकर्ता किस तरह से आउटलेट के भीतर दाखिल होते हैं और स्टाफ से कहासुनी करते हैं. इसके बाद दुकान के शटर नीचे कर दिए जाते हैं. हिंदू रक्षा दल के कार्यकर्ताओं ने कहा, 'श्रावण मास में मांस परोसना सनातन धर्म का अपमान है. यह हमारी धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचाता है और इसे हरगिज़ बर्दाश्त नहीं किया जाएगा.

पहले भी उठ चुकी है ऐसी मांग

इससे पहले दिल्ली के मंत्री कपिल मिश्रा ने कांवड़ यात्रा के दौरान मीट की दुकानों को बंद करने की अपील की थी, हालांकि यह अपील रेस्तरां या फूड चेन पर लागू नहीं होती थी. वहीं, विश्व हिंदू परिषद (VHP) ने भी हाल ही में "सनातनी सर्टिफिकेट" अभियान शुरू किया है, जिसमें केवल शाकाहारी भोजन परोसने वाले रेस्टोरेंट्स को मान्यता दी जा रही है.

VHP का तर्क: 'धार्मिक भावनाओं को ठेस पहुंचती है'

VHP का कहना है कि "श्रावण जैसे पवित्र महीनों में मांसाहारी भोजन की बिक्री धार्मिक आस्थाओं का अपमान है. यह सनातनी परंपराओं और संस्कृति के खिलाफ है. अब तक न तो KFC प्रबंधन और न ही स्थानीय प्रशासन की ओर से इस मामले में कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया सामने आई है। घटना के बाद इलाके में सुरक्षा को लेकर भी कई सवाल खड़े हो गए हैं.