पंजाब में आम आदमी पार्टी (AAP) पूर्ण बहुमत के साथ सत्ता में है, लेकिन इसके बावजूद राज्य में उपचुनाव का सिलसिला थमता नजर नहीं आ रहा. साल 2024 में अब तक कई सीटों पर उपचुनाव हो चुके हैं और अब एक बार फिर चार से पांच विधानसभा क्षेत्रों में उपचुनाव की संभावनाएं प्रबल हो गई हैं इसकी वजह कभी विधायकों की मृत्यु, तो कभी इस्तीफा या पार्टी बदलना रही है.
हाल ही में खरड़, तरनतारन, अमृतसर नार्थ, जालंधर सैंट्रल और बंगा सीटों को लेकर राजनीतिक हलचल तेज़ हो गई है. इससे साफ है कि पंजाब एक बार फिर उपचुनावों की तैयारी में जुट गया है. आइए जानते हैं किन-किन सीटों पर उपचुनाव की स्थिति बन रही है.
खरड़ विधानसभा सीट से विधायक और पूर्व मंत्री अनमोल गगन मान ने शनिवार को राजनीति से संन्यास लेने की घोषणा करते हुए अपना इस्तीफा राज्यपाल को सौंप दिया. पंजाबी सिंगर रह चुकीं अनमोल ने 2022 में शिअद के रंजीत सिंह गिल को 37,885 वोटों से हराया था. हालांकि, सितंबर 2024 में उनसे मंत्री पद वापस ले लिया गया था और जून में उनकी शादी एडवोकेट शहबाज सिंह से हुई थी. उनके इस्तीफे के बाद इस सीट पर उपचुनाव तय है.
27 जून को आम आदमी पार्टी के विधायक कश्मीर सिंह सोहल का निधन हो गया, जिससे तरनतारन विधानसभा सीट खाली हो गई। AAP के स्व. सोहल ने 2022 में अकाली दल के हरमीत सिंह संधू को 13,588 मतों से हराया था. अब यहां भी उपचुनाव की घोषणा जल्द हो सकती है और सभी प्रमुख दलों ने तैयारी शुरू कर दी है.
विजय कुंवर प्रताप, जो कि अमृतसर नार्थ सीट से AAP के विधायक हैं, उन्हें हाल ही में पार्टी ने 5 साल के लिए निष्कासित कर दिया। उन्होंने अकाली नेता बिक्रम मजीठिया पर बयान देकर पार्टी की नाराजगी मोल ली थी. भले ही वे अब भी विधायक बने हुए हैं, लेकिन उपचुनाव की संभावना प्रबल है। उन्होंने 2022 में अकाली दल के अनिल जोशी को 28,318 वोटों से हराया था.
रमन अरोड़ा, जिन्होंने 2022 में जालंधर सैंट्रल सीट से जीत दर्ज की थी, इस समय विजीलैंस जांच के तहत जेल में हैं। उनके खिलाफ भ्रष्टाचार के गंभीर आरोप लगे हैं. आम आदमी पार्टी ने तुरंत हलका इंचार्ज के रूप में नितिन कोहली को नियुक्त किया है. साथ ही, पूर्व डिप्टी सीएम मनीष सिसौदिया ने क्षेत्र का दौरा कर संकेत दिए हैं कि पार्टी चुनावी तैयारी में जुट चुकी है.
डॉ. सुखविंद्र कुमार सुक्खी, जो कि बंगा (रिजर्व सीट) से शिरोमणि अकाली दल के टिकट पर विधायक चुने गए थे, हाल ही में आम आदमी पार्टी में शामिल हो गए हैं. अब यह सीट भी उपचुनाव की दौड़ में है। यदि चुनाव होता है, तो अकाली दल को सुक्खी जैसे मजबूत उम्मीदवार के खिलाफ जोरदार चुनौती पेश करनी होगी.