दिल्ली सरकार ने राजधानी में बढ़ते प्रदूषण को रोकने के लिए एक बड़ा प्लान बनाया है। मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने मंगलवार को ‘स्वच्छ वायु, स्वस्थ भविष्य’ विषय पर आयोजित विशेष प्रेस कॉन्फ्रेंस में प्रदूषण नियंत्रण के लिए उठाए जा रहे कदमों की जानकारी दी।
सीएम गुप्ता ने ऑड-ईवन फॉर्मूले की आलोचना करते हुए कहा कि यह दिल्लीवासियों के लिए असुविधाजनक है। उन्होंने सवाल किया, "जिसके पास एक ही गाड़ी है, क्या वह अपने घर से बाहर नहीं निकलेगा?" इसी के साथ उन्होंने बताया कि दिल्ली में आईआईटी कानपुर की मदद से कृत्रिम बारिश कराई जाएगी ताकि हवा की गुणवत्ता सुधारी जा सके।
1000 वॉटर स्प्रिंकलर और 140 एंटी-स्मॉग गन राजधानी में लगाए जाएंगे।
70 मैकेनाइज्ड स्वीपिंग मशीनें और डम्पिंग गाड़ियां खरीदी जाएंगी।
70 इलेक्ट्रिक कचरा उठाने वाले वाहन सड़कों पर तैनात किए जाएंगे।
दिल्ली मेट्रो स्टेशनों से 2300 इलेक्ट्रिक ऑटो की सेवा शुरू की जाएगी।
सार्वजनिक परिवहन में बड़ा बदलाव: सरकार ने घोषणा की है कि 5 जून 2025 से 200 नई इलेक्ट्रिक बसें सड़कों पर उतरेंगी। साथ ही 2027 तक 10,000 इलेक्ट्रिक बसें संचालित करने का लक्ष्य तय किया गया है। इसके अतिरिक्त, राजधानी में 18,000 सार्वजनिक और सेमी-पब्लिक चार्जिंग स्टेशन लगाए जाएंगे।
हर छह महीने में पीयूसी सेंटरों का ऑडिट किया जाएगा।
स्मार्ट इंटेलिजेंट ट्रैफिक सिस्टम (ITS) के जरिए ट्रैफिक को अधिक प्रभावी ढंग से नियंत्रित किया जाएगा।
दिल्ली सरकार का यह मास्टरप्लान राजधानी में प्रदूषण को घटाने की दिशा में एक ठोस कदम माना जा रहा है, जिसमें तकनीक और हरित ऊर्जा पर खास जोर दिया गया है।