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सुबह उठते ही दिखने वाले ये छोटे लक्षण बन सकते हैं किडनी फेल्योर का बड़ा कारण!

सुबह उठते ही अगर चेहरे पर सूजन, झागदार यूरिन या थकान महसूस हो रही है तो सावधान! ये किडनी डैमेज के शुरुआती संकेत हो सकते हैं, जिन्हें अनदेखा करना भारी पड़ सकता है.

👤 Samachaar Desk 28 Aug 2025 08:58 PM

किडनी हमारे शरीर की सबसे अहम मशीनरी है, जो खून को साफ करती है, टॉक्सिन्स बाहर निकालती है और मिनरल्स का बैलेंस बनाए रखती है. लेकिन माडर्न लाइफस्टाइल, असंतुलित खानपान और दवाइयों का ज्यादा सेवन किडनी पर सीधा असर डालता है. यही वजह है कि आज किडनी डैमेज के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं. खतरनाक बात यह है कि लोग शुरुआती संकेतों को पहचान नहीं पाते और बीमारी गंभीर लेवल तक पहुंच जाती है.

सुबह-सुबह दिखने वाले किडनी डैमेज के संकेत

1. चेहरे और आंखों में सूजन

अगर सुबह उठते ही चेहरे पर या आंखों के नीचे सूजन दिखे, तो इसे हल्के में न लें. यह किडनी के सही तरीके से काम न करने का शुरुआती संकेत हो सकता है.

2. थकान और कमजोरी

नींद पूरी होने के बावजूद सुबह उठकर थका हुआ महसूस करना, कमजोरी आना – ये भी किडनी में बढ़ते टॉक्सिन्स का नतीजा हो सकता है.

3. फोम वाली यूरिन

सुबह की पहली पेशाब में झाग अगर लंबे समय तक बना रहे, तो यह प्रोटीन लीकेज का संकेत है और किडनी हेल्थ के लिए अलार्म है.

4. पैरों और टखनों में सूजन

सुबह उठते ही पैरों या टखनों में सूजन रहना दर्शाता है कि किडनी सोडियम और फ्लूइड को सही से बाहर नहीं निकाल पा रही है.

5. सिरदर्द और ध्यान की कमी

किडनी डैमेज खून की सप्लाई को प्रभावित करता है, जिससे सुबह उठते ही सिरदर्द, चिड़चिड़ापन और फोकस की कमी जैसी दिक्कतें हो सकती हैं.

कब लें डॉक्टर की मदद?

अगर ये लक्षण लगातार 1–2 हफ्तों तक बने रहें, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें. ब्लड और यूरिन टेस्ट से शुरुआती स्टेज पर ही किडनी की समस्या की पहचान की जा सकती है।.

किडनी को स्वस्थ रखने के उपाय

रोज पर्याप्त पानी पिएं और हाइड्रेटेड रहें. नमक और पैकेज्ड फूड का सेवन कम करें. ब्लड प्रेशर और शुगर लेवल कंट्रोल में रखें. बिना जरूरत ज्यादा दवाइयां न लें. रेगुलर हेल्थ चेकअप कराते रहें.

विशेषज्ञ क्या कहते हैं?

ABP से बातचीत के दौरान नारायणा हेल्थ हॉस्पिटल के नेफ्रोलॉजिस्ट डॉ. संजय पांडे के अनुसार, सुबह चेहरा सूजना, टखनों में पानी भरना, झागदार यूरिन, थकान और कमजोरी जैसे संकेत अक्सर नजरअंदाज कर दिए जाते हैं. लेकिन इन्हें अनदेखा करना खतरनाक हो सकता है और धीरे-धीरे किडनी फेल्योर तक ले जा सकता है. समय रहते जांच और सही इलाज से गंभीर स्थिति से बचा जा सकता है.