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पंजाब में बिलिंग सिस्टम में बड़ा बदलाव: OCR तकनीक से मीटर रीडिंग अब होगी बिल्कुल सही और पारदर्शी

पंजाब सरकार ने बिजली बिलिंग में पारदर्शिता और सटीकता लाने के लिए पावरकॉम के माध्यम से नया OCR सिस्टम लागू किया है। अब मीटर रीडर मैन्युअल रीडिंग दर्ज नहीं करेगा, बल्कि मीटर की फोटो खींचकर सिस्टम खुद बिल तैयार करेगा।

👤 Saurabh 11 Nov 2025 11:26 AM

पंजाब में अब बिजली बिलिंग सिस्टम को पूरी तरह से पारदर्शी और तकनीक आधारित बनाया जा रहा है। पावरकॉम ने मीटर रीडिंग में गलतियों और जानबूझकर की जाने वाली छेड़छाड़ को रोकने के लिए नया ऑप्टिकल कैरेक्टर रिकग्निशन (OCR) सिस्टम शुरू कर दिया है। यह सिस्टम बिलिंग प्रक्रिया को पूरी तरह डिजिटल बना देगा।

300 यूनिट मुफ्त बिजली योजना और सामने आई समस्या

पंजाब सरकार घरेलू उपभोक्ताओं को प्रति माह 300 यूनिट बिजली मुफ्त देती है। लेकिन यदि किसी उपभोक्ता की खपत 300 यूनिट से ज़्यादा हो जाती है, तो उसे पूरा बिल चुकाना पड़ता है।

इसी वजह से पिछले कुछ समय से शिकायतें आ रही थीं कि कुछ जगहों पर मीटर रीडिंग को जानबूझकर ऊपर-नीचे कर दिया जाता है। गलत रीडिंग की वजह से गलत बिल बन जाते हैं। इससे सरकार को आर्थिक नुकसान होता है और उपभोक्ताओं को परेशानी झेलनी पड़ती है।

नई तकनीक: मीटर की फोटो से अपने आप बिल बनेगा

अब नए OCR सिस्टम में मीटर रीडर को रीडिंग हाथ से दर्ज नहीं करनी होगी। इसके बजाय वह मीटर की एक साफ फोटो लेगा। सिस्टम उस फोटो में लिखे नंबर को अपने आप पहचानकर बिल तैयार कर देगा।

क्या है इसके फायदे

मानवीय गलती खत्म

जानबूझकर गलत रीडिंग डालने की संभावना समाप्त

बिलिंग प्रक्रिया पूरी तरह पारदर्शी

जहाँ मोबाइल नेटवर्क या फोटो लेने में दिक्कत होगी, वहाँ मीटर को मशीन से जोड़कर सीधे सिस्टम में रीडिंग फीड हो जाएगी।

फ्यूजन कंपनी संभालेगी मीटर रीडिंग

मीटर रीडिंग का ठेका फ्यूजन नामक कंपनी को दिया गया है। उसे निर्देश दिए गए हैं कि OCR सिस्टम को पूरी तरह और तुरंत लागू किया जाए। हालाँकि, नई कंपनी के सिस्टम को सेट होने में कुछ समय लग रहा है, इसलिए बीच में कुछ उपभोक्ता शिकायतें भी सामने आई हैं।

उपभोक्ताओं को मिलेंगे सीधे फायदे

अधिकारियों के अनुसार, नया सिस्टम लागू होने के बाद गलत बिल बनने की समस्या खत्म होगी। उपभोक्ता अपनी रीडिंग खुद मिलान कर पाएंगे। दफ्तरों के चक्कर लगाने की जरूरत कम पड़ेगी। बिजली चोरी पर भी आगे कड़ा नियंत्रण लगाया जाएगा।